जब तकदीर रूठ जाती है ,
तो इंसान लाख सँभालने पर भी गिर जाता है .
जो गिरते हुए को संभाल ले,
वही तो खुदा का अवतार होता है.
यों तो लाखों आते जाते है राहों में ,
लाखों कि भीड़ में भी पहचान ले ,
वही तो आपका प्यार होता है ,
आँखों से देखकर तो कोई भी ,
इश्क लड़ाने लग जाता है ,
जो दिल की आँखों से कोसों की
दूरी से भी पुकार ले ,
असल में वही तो अपना यार होता है .
हम क्या लेकर आये थे दुनिया में ,
कि लुटने का भये पाले बैठे हैं .
जो खुद को दूसरो पर लुटा दे ,
वही तो सबसे बड़ा दिलदार होता है .
उगते हुए सूरज को तो सभी
सलाम करते हैं अपनी गैरत में ,
जो डूबते हुए तारे का गम समझे ,
असल में वही तो अपना वफादार होता है .
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